Shri Saraswati Chalisa – श्री सरस्वती चालीसा
॥ दोहा ॥ जनक जननि पद्मरज, निज मस्तक पर धरि ।बन्दौं मातु सरस्वती, बुद्धि बल दे दातारि ॥पूर्ण जगत में व्याप्त तव, महिमा अमित अनंतु।दुष्जनों के पाप को, मातु तु ही अब हन्तु ॥ Read Shri Saraswati Chalisa in English ॥ चालीसा ॥ जय श्री सकल बुद्धि बलरासी ।जय सर्वज्ञ …